पेटलावद। क्षेत्र के प्रसिद्ध तीर्थ स्थल श्रंगेस्व्ररधाम के गादीपति रामेश्वर गिरी महाराज एवं उज्जैन के साधु-संतों व अखाडा परिषद के द्वारा गत दिनों प्रदेश के मुखिया शिवराज सिंह चौहान उनके आवास पर एक विशेष मुलाकात करते हुए उज्जैन एवं शिप्रा नदी के तट पर आने वाली समस्याओं के विषय में चर्चा करते हुए कई प्रकार की मांग रखी। जिसमे उज्जैन के साधु संतों के साथ ही साथ उच्च शिक्षा मंत्री मोहन यादव व आला अधिकारी रहे मौजूद रहे।
सीएम ने किया सन्तो का स्वागत
सीएम निवास पर मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के द्वारा सभी साधु संतों का विशिष्ट रूप से आदर सत्कार करते हुए सम्मान सत्कार और समान तथा सेवा करते हुए स्वागत किया
रखि अपनी बात
अपनी बात रखते हुए सन्तों ने उज्जैन की शिप्रा नदी में खान का पानी मिलने से रोकने, त्रिवेणी परस्थाई डैम का व केनाल का निर्माण करने ,ओर नदी को प्रदुषित होने के लिए कारगर ओर स्थायी योजना बनाने के अलावा उज्जैन के संत समाज व साधुजनों की अन्य समस्याओं को लेकर शनिवार शाम को मुख्यमंत्री निवास पर लगभग 1 घण्टा चर्चा की ओर मांग सम्बन्धी ज्ञापन भी सीएम को सोपा ।
सीएम ने बनाया दल
सन्तो की बात और समस्याओं को गम्भीरता से लेते हुए सीएम शिवराज सिंह चौहान ने तत्काल जल संसाधन विभाग के ईएनसी की अगुवाई में आला अधिकारी यों की टीम बना दी है। जो जल्द ही उज्जैन के साधु-संतों व जनप्रतिनिधियों के साथ मौका मुआयना कर प्रोजेक्ट तैयार करेगी।
स्थाई समाधान की मांग
उज्जैन से गए शिव शंभू सन्यासी मंडल के अध्यक्ष महंत रामेश्वर गिरी(गादीपति श्रंगेश्वर महादेव धाम),
रामादल अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष डॉ. रामेश्वर दास व अन्य संतों ने एक सुर में कहा कि इस समस्या का स्थाई हल ढूंढा जाए। पहले की तरह कोई ऐसी प्लानिंग ना बने जिससे कि सरकारी धन की बर्बादी हो।
इन सन्तो ने की मुलाकात
इस दौरान जूना अखाड़ा नीलगंगा के थाना पति महंत देव गिरि महाराज, आवान अखाड़े के थानापति महंत सहजानंद गिरी, अटल अखाड़ा के महंत प्रेम गिरी जी, अग्नि अखाड़े के महंत राजेश्वरानंद ब्रह्मचारी सहित अन्य प्रमुख संत मौजूद रहे|